उत्तराखंड में हो रही भारी बारिश से तबाही मची हुई है. राज्य के कई जिलों में सड़कें, पुल, मकान और फसलें तबाह हो गई हैं. कई लोग बेघर हो गए हैं. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दिल्ली से लौटते ही प्रदेश में हो रही अतिवृष्टि का जायजा लिया. उन्होंने जिलाधिकारी टिहरी एवं पौड़ी से फोन पर बात कर इन जनपदों में हुए नुकसान की जानकारी ली.
मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि अगले दो दिनों में राज्य के अधिकांश जनपदों में भारी से बहुत भारी वर्षा होने की संभावना है. मुख्यमंत्री धामी ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि मौसम विभाग के पूर्वानुमान को दृष्टिगत रखते हुए जिला प्रशासन को अलर्ट मोड पर रखें एवं सभी सहयोगी संस्थाओं से निरन्तर समन्वय बनाए रखें.
मुख्यमंत्री धामी ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि जिले में खाद्यान से संबंधित सभी वस्तुओं के साथ ही दवाओं की भी पर्याप्त उपलब्धता रखी जाए. शासन के उच्चाधिकारियों और सचिव आपदा प्रबंधन को भी जिलाधिकारियों से निरन्तर समन्वय बनाये रखने के मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए हैं.
उन्होंने कहा कि अतिवृष्टि से प्रदेश में बहुत लोग प्रभावित हुए हैं. कुछ लोगों ने अपने परिवार के लोगों को खोया है. काफी लोग बेघर हुए हैं. ऐसे लोगों के लिए जल्द ही एक योजना लाई जा रही है. बेघर हुए लोगों को पुनर्वास की व्यवस्था, उनके रोजगार के लिए प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाएगी.
जिन बच्चों ने इस आपदा में अपने माता-पिता को खो दिया है. उन बच्चों के लिए शिक्षा का इस योजना के तहत प्रबंध किया जायेगा. अतिवृष्टि के कारण प्रदेश में आपदा की स्थिति है. सड़कों, पुलों, मकानों, फसलों, बिजली एवं पानी की लाईनों का भी काफी नुकसान हुआ है. सीएम धामी ने कहा राज्य में अतिवृष्टि से एक हजार करोड़ से भी अधिक की परिसम्पति का प्रदेश को नुकसान हुआ है. भारत सरकार की टीम ने राज्य में हो रहे नुकसान का प्रारंभिक रूप में सर्वे भी किया है. आपदा से हो रहे नुकसान का आकलन करने के लिए राज्य सरकार से भी भारत सरकार को पत्र भेजा रहा है.